Tuesday, 8 August 2017

सरकार ने किया सबसे बड़ा घोटाला-कांग्रेस

नई दिल्ली/राज्यसभा:  अलग-अलग तरह के 500 रुपये के नोट छापे जाने के विपक्ष के आरोप को लेकर संसद में मंगलवार को ज़ोरदार हंगामा हुआ. कांग्रेस ने उच्च सदन राज्यसभा में 500 रुपये के दो नोटों की तस्वीर दिखाते हुए दावा किया कि उनका आकार और डिज़ाइन अलग-अलग है, और पार्टी ने इसे 'सदी का सबसे बड़ा घोटाला' करार दिया.
कांग्रेस नेता गुलाम नबी आज़ाद ने कहा, "हमने भी शासन किया, लेकिन कभी भी दो तरह के नोट नहीं छापे, एक पार्टी के लिए, एक सरकार के लिए - दो तरह के 500 रुपये के नोट, और दो तरह के 2,000 रुपये के नोट..."
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस पर मुद्रा के बारे में 'गैरज़िम्मेदाराना बयान' देने तथा शून्यकाल का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया, जिसके दौरान महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की जाती है.
अरुण जेटली ने कहा, "ऐसा कोई प्रावधान नहीं है, जहां आप कोई भी काग़ज़ का टुकड़ा लहराकर उसे मुद्दा बना देंगे... देश की मुद्रा के बारे में गैरज़िम्मेदाराना बयान दिए जा रहे हैं... शून्यकाल का दुरुपयोग किया जा रहा है..." इसके बाद कांग्रेस के सदस्य नारे लगाते हुए सदन के बीचोंबीच एकत्र हो गए. पार्टी के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल ने कहा, "आज हमें पता चला कि सरकार ने नोटबंदी का फैसला क्यों किया था... आरबीआई (रिज़र्व बैंक ऑफ इंडिया) दो तरह के नोट छाप रहा है, जिनके आकार और डिज़ाइन अलग-अलग हैं..."
तृणमूल कांग्रेस के नेता डेरेक ओ'ब्रायन ने कांग्रेस का समर्थन करते हुए कहा, "नोटों को देखिए... (कपिल) सिब्बल जी ने एक गंभीर मुद्दा उठाया है..."
इसके बाद केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने नोटों के स्रोत पर सवाल खड़े किए.
बाद में अरुण जेटली ने कहा कि वह इन नोटों की प्रामाणिकता की जांच करवाएंगे. उन्होंने कहा, "इतने बड़े प्रिंट ऑर्डर को ध्यान में रखें, तो हो सकता है कि किसी अपवाद के रूप में कोई नोट ज़रा-सा बड़ा या छोटा हो..."
वित्त मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक नोटों के आकार या डिज़ाइन में मामूली-सा अंतर मुमकिन है, और उन्होंने ज़ोर देकर कहा कि सरकार ने नोटों के दो सेट छापने के लिए नहीं कहा था. सूत्रों का कहना है, "अलग-अलग प्रिंटिंग प्रेसों में आकार और डिज़ाइन में मामूली-सा अंतर हो सकता है... इसका अर्थ यह नहीं है कि दो अलग-अलग तरह के बैंक नोट छापे जा रहे हैं..."



जस्टिस दीपक मिश्रा होंगे देश के अगले प्रधान न्यायाधीश

नई दिल्ली: जस्टिस दीपक मिश्रा देश के 45वें चीफ जस्टिस होंगे. केंद्र सरकार ने राष्ट्रपति की मुहर के साथ ही ये घोषणा कर दी है. मौजूदा CJI जेएस खेहर 27 अगस्त को रिटायर हो रहे हैं और इसके बाद जस्टिस मिश्रा प्रधान न्यायाधीश का पद संभालेंगे. वे 3 अक्टूबर, 2018 तक इस पद पर रहेंगे.
इस वक्त सुप्रीम कोर्ट में सबसे वरिष्ठ न्यायाधीश जस्टिस दीपक मिश्रा के नाम कई ऐतिहासिक जजमेंट हैं. इनमें याकूब मेमन की रातभर पर सुनवाई के बाद फांसी की सजा बरकरार रखने, निर्भया के दोषियों को फांसी की सजा सुनाने के अलावा कई बड़े फैसले हैं. जस्टिस मिश्रा ने ही देशभर के सिनेमाघरों में राष्ट्रीय गान के आदेश जारी किए थे.

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